प्रयागराज: बैंक मैनेजर की सतर्कता से बची बुजुर्ग महिला, 1 करोड़ 20 लाख की साइबर ठगी से बचाव

प्रयागराज में साइबर ठगों के एक बड़े फ्रॉड से एक सेवानिवृत्त शिक्षिका बाल-बाल बच गईं। ठगों ने उन्हें ‘डिजिटल अरेस्ट’ का डर दिखाकर करीब 1 करोड़ 20 लाख रुपये ट्रांसफर कराने की कोशिश की, लेकिन बैंक स्टाफ की सजगता और त्वरित कार्रवाई से महिला का पैसा बच गया।

घटना करेली थाना क्षेत्र की है। सेवानिवृत्त शिक्षिका के पास ठगों ने फोन किया और खुद को पुलिस अधिकारी बताकर कहा कि उनका नाम एक बड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में आया है। उनके खाते से अवैध लेन-देन हुआ है और अगर पैसे नहीं ट्रांसफर किए तो उन्हें गिरफ्तार कर लिया जाएगा। डर के मारे महिला ‘डिजिटल अरेस्ट’ में आ गईं और ठगों के कहे अनुसार बैंक पहुंचीं।

महिला ने बैंक में अपने खाते से 1 करोड़ 20 लाख रुपये ट्रांसफर करने का अनुरोध किया। इतनी बड़ी रकम के ट्रांसफर पर बैंक मैनेजर को शक हुआ। उन्होंने महिला से बात की और पूरी स्थिति समझी। महिला ने रोते हुए सारी बात बताई कि पुलिस वाले फोन पर हैं और गिरफ्तारी का डर दिखा रहे हैं।

बैंक मैनेजर ने तुरंत महिला को समझाया कि यह साइबर ठगी का मामला है। उन्होंने महिला को शांत किया और साइबर क्राइम हेल्पलाइन नंबर 1930 पर कॉल करवाया। साथ ही स्थानीय पुलिस को भी सूचना दी। ठगों का फ्रॉड पकड़ा गया और महिला का पूरा पैसा बच गया।

पुलिस ने महिला की शिकायत पर अज्ञात ठगों के खिलाफ साइबर ठगी का मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। बैंक स्टाफ की मुस्तैदी की हर तरफ सराहना हो रही है। पुलिस ने लोगों से अपील की है कि ऐसे फोन आएं तो घबराएं नहीं, तुरंत 1930 या नजदीकी थाने में सूचना दें।

यह घटना एक बार फिर साइबर ठगों की नई-नई तरकीबों को उजागर करती है। ‘डिजिटल अरेस्ट’ का डर दिखाकर बुजुर्गों को ठगने के मामले बढ़ रहे हैं। सतर्कता ही सबसे बड़ा बचाव है।

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