नागर विमानन मंत्री के. राममोहन नायडू ने मंगलवार को स्पष्ट किया कि 12 जून को हुए एअर इंडिया विमान हादसे की जांच पूरी तरह पारदर्शी और नियमों के अनुसार की जा रही है। उन्होंने कहा कि इस जांच में किसी भी तरह की हेराफेरी या दबाव नहीं है, और लोगों को अंतिम रिपोर्ट आने तक धैर्य रखना चाहिए।
विमान हादसे में 260 लोगों की मौत
गौरतलब है कि इस भीषण विमान हादसे में कुल 260 लोगों की मौत हो गई थी। यह हादसा उस समय हुआ जब एअर इंडिया का विमान खराब मौसम की स्थिति में लैंडिंग के दौरान दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। इस त्रासदी के बाद वायुयान दुर्घटना अन्वेषण ब्यूरो (एएआईबी) ने घटना की गहन जांच शुरू की थी। हालांकि, हाल के दिनों में कुछ हलकों में एएआईबी की निष्पक्षता पर सवाल उठाए जा रहे थे, जिन पर मंत्री नायडू ने स्थिति स्पष्ट की।
राजनीतिक या बाहरी दखलअंदाजी
उन्होंने कहा, “जांच प्रक्रिया पूरी तरह पेशेवर और निष्पक्ष है। इसमें किसी प्रकार की राजनीतिक या बाहरी दखलअंदाजी नहीं हो रही। हम चाहते हैं कि सच सभी के सामने आए, इसलिए जांच टीम को स्वतंत्र रूप से काम करने दिया जा रहा है।”
अंतरराष्ट्रीय मानकों का पालन
मंत्री ने यह भी बताया कि जांच में अंतरराष्ट्रीय मानकों का पालन किया जा रहा है और हर तथ्य को वैज्ञानिक तरीके से परखा जा रहा है। उन्होंने कहा कि विमान के ब्लैक बॉक्स और तकनीकी डेटा के विश्लेषण के बाद ही कोई ठोस निष्कर्ष सामने आएगा।
नायडू ने की मीडिया से बात
कार्यक्रम के दौरान नायडू ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा, “हमारा उद्देश्य किसी को दोषी ठहराना नहीं, बल्कि यह पता लगाना है कि ऐसी त्रासदी दोबारा न हो।” उन्होंने जनता से अपील की कि वे अफवाहों पर विश्वास न करें और एएआईबी की अंतिम रिपोर्ट का इंतजार करें।
पीड़ित परिवारों को मुआवजा देने का फैसला
बता दें…एअर इंडिया प्रबंधन ने भी पीड़ित परिवारों को सहायता और मुआवजा प्रदान करने की प्रक्रिया तेज कर दी है। कंपनी ने कहा है कि सुरक्षा मानकों की पुनः समीक्षा की जा रही है ताकि भविष्य में ऐसे हादसे रोके जा सकें।
सुरक्षा के लिए ठोस कदम उठाएगी सरकार और एयरलाइंस
इस घटना ने भारत में विमानन सुरक्षा के मुद्दे को एक बार फिर सुर्खियों में ला दिया है। विशेषज्ञों का मानना है कि सरकार और एयरलाइंस को मिलकर हवाई सुरक्षा के लिए ठोस कदम उठाने होंगे। नागर विमानन मंत्री ने भरोसा दिलाया कि जांच पूरी होने के बाद उसकी रिपोर्ट सार्वजनिक की जाएगी और यदि किसी स्तर पर लापरवाही पाई गई तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी।