ट्रेन हादसा निगल गया 300 से ज्यादा जिंदगियां ,देश में शोक की लहर, दर्दनाक मंजर

मंजिल पर पहुंचने की चाह यात्राओ से होकर गुजरती हैं ,बेंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस, शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस पर बैठने वाले यात्रियों को कहां पता था कि ये यात्रा उनके जीवन की अंतिम यात्रा होगी।

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उड़ीशा से इस समय एक बहुत बुरी खबर सामने आयी हैं। ओडिशा में शुक्रवार को बेंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस, शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस और एक मालगाड़ी के बीच एक बड़ी ट्रेन दुर्घटना हुई।माना जा रहा है कि अबतक की सबसे घातक ट्रेन दुर्घटनाओं में से एक है। हादसे के बाद कई परिवार बिखर गए। खून के सैलाब के बीच लोगों की चीख-पुकार ही सुनाई दे रही थी। चारों तरफ खून से सने क्षत-विक्षत और अंगविहीन शरीर ही दिख रहे थे। कोलकाता से करीब 250 किलोमीटर दक्षिण और भुवनेश्वर से 170 किलोमीटर उत्तर में बालासोर जिले के बहानागा बाजार स्टेशन के पास शुक्रवार शाम लगभग सात बजे यह ट्रेन हादसा हुआ।स्थानीय निवासियो ने बताया कि उन्होंने अचानक बहुत तेज आवाजें सुनीं, जिसके बाद वे घटनास्थल पर भाग कर पहुंचे और देखा कि पटरी से ट्रैन के डिब्बे उतर गए थे, और एक बड़ी ट्रैन दुर्घट्ना हुई थी। लोगों ने देखा कि वहां “स्टील के एक टूटे हुए ढेर के अलावा कुछ भी नहीं बचा था।जिन्दा बचे यात्रियों ने बताया कि स्थानीय निवासियो को हमारी मदद करने के लिए क्षत-विक्षत अंगों पर चलना पड़ा। क्षेत्र के लोगो ने न केवल लोगों को बाहर निकालने में मदद की, बल्कि हमारा सामान निकाला और हमें खाने पीने की व्यवस्था की।

पश्चिम बंगाल के रहने वाले रतलेश ने बताया काम पर जाने के लिए कोरोमंडल एक्सप्रेस से तमिलनाडु जा रहे थे, तभी यह दुर्घटना हुआ। रतलेश ने बताया कि , ‘हमें एक तेज का झटका लगा और अचानक हमने देखा कि ट्रेन की बोगी एक तरफ मुड़ रही है। हम में से कई लोगों को ट्रेन के पटरी से उतरने के झटके ने डिब्बे से बाहर फेंक दिया था। जब हम रेंगकर बाहर निकलने में कामयाब रहे, तो हमें चारों तरफ शव पड़े मिले।इस पूरे हादसे में अब तक 300 लोगों की जान जाने की खबर है। वहीं, करीब 900 से ज्यादा लोग बुरी तरीके से घायल हैं। इस घटना के बाद एनडीआरएफ, एसडीआरएफ से लेकर सुरक्षाबलों के कई जवानों को भी राहत-बचाव कार्यों में लगा दिया गया है। प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, शनिवार सुबह भी घटनास्थल से शवों को निकालने का काम जारी रहा।

इस हादसे को लेकर ओडिशा सरकार ने एक दिन के राजकीय शोक का एलान किया है, वहीं भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने अपनी सभी कार्यक्रम रद्द कर दिए हैं। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी शनिवार को ही ओडिशा में घटनास्थल का दौरा कर सकती हैं। पीएम मोदी भी घटना स्थल पर पहुंच रहे है। इस हादसे के कई घंटे बीत जाने के बाद भी अब तक कई लोगों को यह साफ नहीं है कि आखिर तीन ट्रेनें आपस में टकराईं कैसे? ऐसे में यह जानना जरूरी है कि आखिर कैसे इतनी बड़ी घटना घटी

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